ब्यूरो रिपोर्ट टीटीयू।गंगोत्री धाम में भागीरथी नदी का जलस्तर बढ़ गया है. जिसके कारण तीर्थ पुरोहितों की चिताएं बढ़ गई हैं. अल्मोड़ा जागेश्वर धाम में भी जटागंगा उफान पर है. जिसके कारण घाट डूब गये हैं..उत्तराखंड के पहाड़ी इलाकों में बारिश हो रही है. जिसके कारण नदी नाले उफान पर हैं..इसी कड़ी में आज गंगोत्री धाम में बुधवार शाम को अचानक फिर भागीरथी(गंगा) नदी का जलस्तर बढ़ गया है.. सुरक्षा की दृष्टि से पुलिस ने नदी के किनारों से यात्रियों को हटा लिया है.. वहीं,अलमोड़ा के प्रसिद्ध जागेश्वर धाम में भी घाटों को नुकसान पहुंच
गंगोत्री धाम में अचानक फिर भागीरथी का जलस्तर बढ़ गया.. जिसके कारण घाट जलमग्न हो गये. यहां तीन दिन पूर्व भी भागीरथी नदी का जलस्तर बढ़ गया था.. जलस्तर बढ़ने के कारण एक कुटिया भी बह गई थी.. बीते मंगलवार को नदी का जलस्तर कम होने के बाद लोगों ने राहत की सांस ली थी, लेकिन बुधवार शाम अचानक फिर से नदी का जलस्तर बढ़ गया.. हालांकि अभी नदी का पानी घाटों के ऊपर नहीं पहुंचा है, लेकिन नदी के बढ़े हुए जलस्तर में पेड़ भी बहते नजर आए हैं, जिससे लोग खतरे को लेकर चिंतित हैं. स्थानीय व्यापारी सतेंद्र सेमवाल ने बताया नदी बहुत रौद्र रूप में बह रही है. यदि इसी तरह नदी का जलस्तर बढ़ा तो खतरा बढ़ सकता है..जागेश्वर में शाम को आधे घंटे तक हुई मूसलाधार वर्षा के कारण जटागंगा नदी अपने पूरे उफान में आ गई. इस अतिवृष्टि के कारण जागेश्वर में दो मकान खतरे की जद में आ गए हैं..भंडारे स्थल को जोड़ने वाला पुल भी बह गया है. वहीं रण मोक्ष मंदिर के पास सड़क भी धंस गई है. जिलाधिकारी विनीत तोमर ने बताया खतरे की जद में आए मकानों का चिन्हीकरण किया जा रहा है. खतरे की जद में आए मकानों में रहने वाले लोगों को दूसरे स्थान में शिफ्ट होने को कहा गया है. प्रशासन की और से उनके रहने की व्यवस्था कराई जा रही है…
वहीं, अलमोड़ा के प्रसिद्ध जागेश्वर धाम में भारी अतिविष्टि के कारण जटागंगा भी उफान पर है. जिसके कारण मंदिर के योग मैदान के पुल के साथ घाट में भारी नुकसान पहुंचा है. कई दीवारें गिरने की सूचना मिली है.. फिलहाल जिलाधिकारी मौके पर पहुंच गये हैं.इसके साथ ही शेरघाट क्षेत्र में जैगन नदी का जलस्तर भी बढ़ गया है. अल्मोडा शेरघाट मोटर मार्ग में लगातार भू धंसाव हो रहा है. जिससे आने जाने वाले वाहनों को ख़तरा बना हुआ है।